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प्रधान आरक्षक राहुल सिंह नशे की जड़, कहीं न कहीं कोतवाल की भी भूमिका संदिग्ध।

सतना। नशे के खिलाफ पूरे मध्यप्रदेश मे विशेष अभियान चलाया गया। जिसके तहत सतना जिले में पुलिस ने कार्यवाही भी की। लेकिन नशे के कारोबार को बंद कराने में पुलिस प्रशासन सफल नहीं हुआ है। सतना जिले के सिटी कोतवाली थाना अंतर्गत बहुचर्चित बजरहा टोला एक ऐसा क्षेत्र है जहां पर हर तरह का नशा घर-घर में बेचा जाता है। आला अधिकारियों की आदेश के बाद बजरहा टोला के मजबूत माहौल में दिखावटी कसावट लाने का काम जिम्मेदारी के साथ थाना प्रभारी ने किया है। लेकिन इसका कोई जमीनी असर सामने नहीं आया है। सूत्र बताते हैं कि बजरहा टोला में सिटी कोतवाली पुलिस ने दबाव बनाकर कुछ कार्यवाही जरूर कर डाली, लेकिन बीट वाले पुलिसकर्मी इन दिनों नजराना वसूल करने की परंपरा को चालू कर फिर पहले जैसे हालात बजरहा टोला में बना दिए हैं। सिटी कोतवाली थाना में पदस्थ प्रधान आरक्षक द्वारा बजरहा टोला में बिकने वाले नशीले कारोबार के एवज में हर माह ऊपरी कमाई करते हैं,इस बात का पूर्व पुलिस अधीक्षक धर्मवीर सिंह के कार्यकाल में खुलासा भी हुआ था,और इसके बाद इस प्रधान आरक्षक राहुल सिँह के मोबाइल का कॉल डिटेल निकलवाया गया था, तो कई तस्करों के मोबाइल नंबर प्रधान आरक्षक के संपर्क में सामने आए थे। लेकिन उसके बाद भी हालात में सुधार नहीं हो रहा है,और अवैध वसूली की परंपरा निरंतर जारी है। कई बार महिलाओं के द्वारा थाने में हंगामा भी किया गया लेकिन उसके बावजूद भी इन तस्करों वा प्रधान आरक्षक पर कार्यवाही नहीं की जा रही है। ऐसे ही सिटी कोतवाली थाना क्षेत्र में पदस्थ आकाश द्विवेदी एवं सुरेश मिश्रा भी सामिल है जो कि थाना प्रभारी को गुमराह कर लम्बी रकम वसूल रहे हैं

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